” रिश्ता ” और
” भरोसा ”
दोनो ही दोस्त हे…!
” रिश्ता ” रखो या ना रखो…
किंतु….
” भरोसा ” जरूर रखना..!
क्युं की जंहा ” भरोसा ” होता हे…
वंहा ” रिश्ते ” अपने आप बन जाते है
” रिश्ता ” और
” भरोसा ”
दोनो ही दोस्त हे…!
” रिश्ता ” रखो या ना रखो…
किंतु….
” भरोसा ” जरूर रखना..!
क्युं की जंहा ” भरोसा ” होता हे…
वंहा ” रिश्ते ” अपने आप बन जाते है