जो सफर की शुरुआत (Started journey)करते हैं,
विधाता की अदालत में(In the court of the legislator)
/>
वे मंजिल भी पा लेते हैं.
बस,
एक बार चलने का
हौसला रखना जरुरी है.
क्योंकि,
अच्छे इंसानों का तो
रास्ते भी इन्तजार करते हैं..
जो सफर की शुरुआत (Started journey)करते हैं,
विधाता की अदालत में(In the court of the legislator)
/>
वे मंजिल भी पा लेते हैं.
बस,
एक बार चलने का
हौसला रखना जरुरी है.
क्योंकि,
अच्छे इंसानों का तो
रास्ते भी इन्तजार करते हैं..